नई दिल्ली: मुंबई में एशिया की सबसे बड़ी झुग्गी बस्ती धारावी के रिडेवलमेंट का काम गौतम अडानी को कंपनी को मिला है। अडानी ग्रुप ने इस झुग्गी-बस्ती के पात्र निवासियों को 350 वर्ग फुट के नए फ्लैट की पेशकश करने का फैसला किया है। अडानी ग्रुप महाराष्ट्र सरकार के सहयोग से धारावी का रिडेवलपमेंट कर रहा है। ग्रुप का दावा है कि धारावी में रहने वाले लोगों को दिए जा रहे फ्लैट का साइज राज्य सरकार द्वारा अब तक दिए गए फ्लैट्स से 17 प्रतिशत अधिक है। ग्रुप ने एक बयान में कहा कि नए फ्लैट में किचन और टॉयलेट भी होंगे। इससे पहले अनौपचारिक बस्तियों के निवासियों को 269 वर्ग फुट के मकान दिए जाते थे। राज्य सरकार ने साल 2018 से उन्हें 315-322 वर्ग फुट के मकान देने शुरू किए थे।
अडानी ग्रुप को नवंबर, 2022 में एशिया की सबसे बड़ी झुग्गी-बस्ती के पुनर्निर्माण का ठेका मिला था। ग्रुप की कंपनी धारावी रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड (DRPPL) ने इस प्रोजेक्ट की प्लानिंग और डिजाइनिंग के लिए ग्लोबल टीमों को हायर करना शुरू कर दिया है। उसने अमेरिका की डिजाइनिंग कंपनी Sasaki, ब्रिटेन की कंसल्टेंसी फर्म Buro Happold और आर्किटेक्ट हफीज कॉन्ट्रैक्टर के साथ हाथ मिलाया है। Sasaki और Buro Happold अरबन प्लानिंग और इंजीनियरिंग क्षेत्र की जानी-मानी कंपनियां हैं। इसके साथ ही सिंगापुर के विशेषज्ञों को भी प्रोजेक्ट टीम के साथ जोड़ा गया है।
सिंगापुर से प्रेरणा
नवंबर 2022 में अडानी की रियल एस्टेट डेवलपमेंट कंपनी अडानी प्रॉपर्टीज ने धारावी के रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के लिए सबसे बड़ी बोली लगाई थी। डीआरपीपीएल में अडानी ग्रुप की 80 परसेंट और महाराष्ट्र सरकार की 20 परसेंट हिस्सेदारी है। अडानी प्रॉपर्टीज ने इसके लिए 5,069 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी। धारावी करीब 600 एकड़ में फैली है और एशिया की सबसे बड़ी झुग्गी बस्ती है। Sasaki को 70 साल का अनुभव है जबकि Buro Happold को क्रिएटिव और वैल्यू ड्रिवन इन्फ्रास्ट्रक्चर सॉल्यूशन के लिए जाना जाता है। इसी तरह कॉन्ट्रैक्टर को मुंबई में सोशल हाउसिंग एंड स्लम रिहैबिलिटेशन अथॉरिटी प्रोजेक्ट्स के लिए जाना जाता है।
डीआरपीपीएल के प्रवक्ता ने हाल में कहा था कि धारावी रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट केवल एक पुनर्विकास योजना नहीं है। हमारा लक्ष्य धारावी में रहने वाले लोगों की क्वालिटी में सुधार लाना है। हम इसमें कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं। इस प्रोजेक्ट के लिए सिंगापुर प्रेरणा का काम करेगा। 1960 के दशक में सिंगापुर की स्थिति भी आज की धारावी की तरह थी। लेकिन आज सिंगापुर पूरी दुनिया के लिए एक उदाहरण है। धारावी में 8.5 लाख से अधिक लोग रहते हैं। यानी यहां प्रति वर्ग किमी में 354,167 लोग रहते हैं। यह दुनिया की छठी सबसे घनी बस्ती है। इसमें गुजरात, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश, बिहार, पश्चिम बंगाल, राजस्थान, महाराष्ट्र और आंध्र प्रदेश के लोग रहते हैं। यहां 6,000 से अधिक छोटी और मझोली यूनिट्स काम करती हैं।